
श्री गुरु जम्भेश्वर भगवान द्वारा प्रणीत, सबद वाणी (120 सबद)
सबद वाणी सबद - 1 ओ३म् गुरु चीन्हों गुरु चिन्ह पुरोहित, गुरु मुख धर्म बखांणी। जो गुरु होयवा सहजै शीले शब्दे नादे …
सबद वाणी सबद - 1 ओ३म् गुरु चीन्हों गुरु चिन्ह पुरोहित, गुरु मुख धर्म बखांणी। जो गुरु होयवा सहजै शीले शब्दे नादे …
बिश्नोई समाज में जागरण व हवन- Bishnoi, awakening and havan in the society: बि श्नोई, समाज में जागरण व हवन मुख्य धार्मिक…
श्री गुरु जम्भेश्वर भगवान की शब्दवाणी: बिश्नोई धर्म का प्राण श्री गुरु जम्भेश्वर भगवान की शब्दवाणी, वैदिक मन्त्रों के स…
विष्णु-विष्णु तू भणरे प्राणीं । इस जीवन के हावै।। क्षण-क्षण आवै घटंती जावै । मरण दिनों दिन आवै ।। पालटीयो गढ़ कांय न चे…
ओ३म् विष्णु-विष्णु तू भण रे प्राणी । पैंकै लाख उपाजूं ।। रतन काया बैकुंठे बासो । तेरा जरामरण भय भाजूं ।।११९।।
ओ३म् सुरगा हूंते शिंभू आयो । कहौ कूणां के काजै ।। नर निरहारी एकलवाई । परगट जोत बिराजै ।। प्रहलादा सूं वाचा कीवी । आयो ब…
ओ३म् हालीलो भल पालीलो सिध पालीलो । खेड़त सूना राणो ।। चन्द सूर दोय बैल रचीलो । गंग जमन दोय रासी ।। सत संतोष दोय बीज बी…
ए क बिजनोर से बिश्नोई श्री जम्भेश्वर जी के पास आया , और बोला की हे देव ! आपके 27 नियमों का पालन तो मैं आसानी से करता हू…
ए क मूला नाम का ब्राहामन जम्भेश्वर के पास आया करता था । एक दिन जब वह अपने घर गया तो अपनी स्त्री से भांजे को झगड़ते दे…
शुक्ल स्वच्छ अति शुध्द हंस, पापों का नाश करने वाले श्री विष्णु गुरु जम्भेश्वरजी द्वारा उच्चरित शब्द: श्री गढ़ आल मोत पुर…